बिट्टू जी एवं खुशबू जायसवाल ने किया अवलोकन
शाहगंज, जौनपुर। पंचम दिवस ग्रीष्मकालीन कार्यशाला वैदेही सखी शक्ति समिति द्वारा चल रहे शिविर में कुकिंग कम्पटीशन हुआ जहां बच्चों ने अच्छी संख्या में प्रतिभाग किया। कंपटीशन में बच्चों को मुख्य सामग्री के रूप में ब्रेड को दिया गया था जिससे विभिन्न तरह के डिश बनाने का टास्क रखा गया था। बच्चों ने ब्रेड से बने मलाई रोल, डोनट, सैंडविच, दही बड़े, चॉकलेट ब्राउनी, ब्रेड मोमोज, ब्रेड बिस्कुट, वेजिटेबल सैंडविच, ड्रिंक में लेमन जूस, सत्तू ड्रिंक, मोजीटो, शिकंजी सहित ऐसे कई आकर्षक और स्वादिष्ट व्यंजन प्रतिभागी बच्चों द्वारा बनाये गये। फायरलेस कुकिंग टास्क के रूप में रखा गया था जिसका अर्थ है बिना गैस जलाए घर के बेसिक चीजों से व्यंजन तैयार करना।
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि समाजसेविका और क्राइम रिसर्च ब्यूरो अध्यक्ष उ.प्र. बिट्टू जी और समाजसेविका खुशबू जायसवाल जज पैनल के रूप में उपस्थिति रहीं। कार्यक्रम में बालक और बालिकाओं ने बढ़-चढ़कर प्रतिभाग किया जहां बताया गया कि प्रथम, द्वितीय और तृतीय विजेताओं चयन कर लिया गया है जिनकी घोषणा कार्यक्रम के समापन के दिन करके उनको पुरस्कृत भी किया जायेगा।
वैदेही सखी शक्ति समिति के इस चतुर्थ वर्ष ग्रीष्मकालीन कार्यशाला के पंचम दिवस के अन्तर्गत बच्चों को आत्मरक्षा, योग, व्यायाम, दंड, एसटी व्यक्तिगत देखभाल के साथ कुकिंग जैसे विषयों पर भी बच्चों के हुनर को निखारने का प्रयास करता है। इस तरह के ग्रीष्मकालीन शिविर के पाठ्येतर गतिविधियों में भाग लेने से बच्चों के व्यक्तित्व में विकास होता है, उनकी रुचियों और प्रतिभाओं का पता चलता है और वे अपने आप को बेहतर ढंग से पहचानते हैं।
ये गतिविधियां छात्रों को नेतृत्व, टीम वर्क और संचार कौशल विकसित करने में मदद करती हैं तथा गतिविधियों में भाग लेने से छात्रों का आत्मविश्वास बढ़ता है। कार्यक्रम में प्रतिदिन की तरह इस दिन भी समिति के सभी सदस्य
प्रमुख रूप से रामपलट अग्रहरि संस्थापक, राम अग्रहरि संस्थापक सदस्य, धीरज पाटिल संस्थापक सदस्य/सलाहकार, डम्पी साहू, मुकेश अग्रहरि, पंकज जायसवाल, स्वाति अग्रहरि, शालू मोदनवाल, अनुपमा मोदनवाल, रागिनी जायसवाल, रजनी जायसवाल, ममता जायसवाल, रूबी जायसवाल, प्रांजला अग्रहरि, खुशी अग्रहरि, अजय अग्रहरि, शुभम यादव, पंकज अग्रहरि, नीरज अग्रहरि, प्रियंका जायसवाल, अर्चना बरनवाल, शिवानी यादव की विशेष उपस्थिति रही।
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